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राज्य में फिर से पर्यटक स्थल बहाल

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राज्य में फिर से पर्यटक स्थल बहाल छोटा अखबार। राज्य के समस्त स्मारक एवं संग्रहालय सोमवार से पर्यटकों  के लिए खोल दिए गये। इस दौरान कोविड-19 से बचाव को देखते हुए समस्त सुरक्षा मापदण्डाें की पालना की गई। आमेर महल में लोक कलाकारों द्वारा कालबेलिया एवं चरी नृत्य का आयोजन किया गया तथा शहनाई व नगाडों का वादन किया गया। अल्बर्ट हॉल संग्रहालय एवं हवा महल में भी कच्ची घोड़ी नृत्य एवं शहनाई वादन के साथ पर्यटक स्थल लम्बी अवधि के बाद पर्यटकों के लिए खोले गये। पुरातत्व एवं संग्रहालय विभाग के निदेशक प्रकाश चन्द्र शर्मा ने बताया कि इस सप्ताह सभी स्मारक तथा संग्रहालय प्रातः 9 बजे से दोपहर 2 बजे तक मंगलवार, गुरूवार, शनिवार एवं रविवार को खुलेंगे। अगले सप्ताह मंगलवार, गुरूवार, शनिवार एवं रविवार को स्मारक एवं संग्रहालय प्रातः 9 बजे से दोपहर 1 बजे तक तथा 3 बजे से 5 बजे तक खुले रहेंगे। इन दो सप्ताहों में पर्यटकों का प्रवेश निःशुल्क रहेगा। जून माह के तीसरे सप्ताह से सभी स्मारक एवं संग्रहालय नियमित रूप से पूर्व की भांति खुले रहेंगे और समय प्रातः 9 बजे से दोपहर 1 बजे एवं 3 बजे से 5 बजे तक रहेगा। तीसरे सप्ताह से

प्रदेश में 19 जून को होगें राज्यसभा चुनाव 

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प्रदेश में 19 जून को होगें राज्यसभा चुनाव  छोटा अखबार। भारत निर्वाचन आयोग द्वारा देश में कोरोना वायरस के बढ़ते खतरे के मध्यनजर स्थगित किये गये राज्यसभा के द्विवार्षिक चुनाव की नई तिथि की घोषणा कर दी गई है।   मुख्य निर्वाचन अधिकारी आनन्द कुमार ने बताया कि पूर्व में 26 मार्च, 2020, को होने वाले राज्यसभा के द्विवार्षिक चुनाव अब 19 जून, 2020 को होगें। निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार मतदान 19 जून, 2020, शुक्रवार को प्रातः 9 बजे  से सायं 4 बजे तक होगा। मतगणना 19 जून, 2020, शुक्रवार को सायं 5 बजे से  समय निर्धारित किया गया है। निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार चुनाव प्रक्रिया 22 जून, 2020 से पूर्व पूर्ण हो जायेगी। आनन्द कुमार ने बताया कि राज्यसभा के द्विवार्षिक चुनाव के लिए मतदान राजस्थान विधानसभा परिसर में आयोग द्वारा अधिसूचित मतदान केन्द्र में निर्धारित दिनांक को किया जायेगा।

आज से एसएमएस अस्पताल में सामान्य चिकित्सा बहाल 

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आज से एसएमएस अस्पताल में सामान्य चिकित्सा बहाल  छोटा अखबार। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने बताया कि एक जून 2020 से राज्य का सबसे बड़ा सवाई मानसिंह अस्पताल नोन कोविड हो जाएगा। कोविड मरीजों का इलाज आरयूएचएस में किया जाएगा। मंत्री के अनुसार शुरुआती दौर में कोरोना महामारी के प्रकोप को देखते हुए एसएमएस अस्पताल में कोविड से संक्रमितों के लिए ओपीडी, आईपीडी व इमरजेंसी चिकित्सा सुविधाएं शुरू की गई थी। अब एक जून से यहां दी जाने वाली सभी सेवाएं आरयूएचएस (राजस्थान स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय), प्रतापनगर में स्थानांतरित की जा रही हैं। विशेषज्ञ व समस्त स्टाफ वहां जाकर संक्रमितों को चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध करा सकेंगे।  वहीं चरक भवन में चलने वाले कोरोना ओपीडी को भी आगामी दिनों में फार्मेसी कॉलेज में स्थानांतरित किया जाएगा। तब तक यहां खांसी-जुकाम-बुखार से जुड़े मरीजों का उपचार किया जाएगा। फार्मेसी कॉलेज में स्थानांतरण के बाद यहां भी पूर्व की भांति चिकित्सा सुविधाएं जारी कर दी जाएंगी।  दूसरी ओर सांगानेरी गेट स्थित महिला चिकित्सालय में कोविड से जुड़े मरीजों और संक्रमितों का इलाज किया जा

आज से किसानों को मिलेगा 3 फीसदी ब्याज पर लोन, लोन के लिये गिरवी रखनी होगी फसल

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आज से किसानों को मिलेगा 3 फीसदी ब्याज पर लोन लोन के लिये गिरवी रखनी होगी फसल छोटा अखबार।   सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना ने बताया कि एक जून को सभी जिलों मेंग्राम सेवा सहकारी समितियां किसानों को रहन ऋण वितरण करउपज रहन ऋण योजनाका शुभारंभ करेगी।कोविड-19 महामारी के दौर में किसानों को कम दामों पर फसल नही बेचनी पडे़ इसके लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने 3 प्रतिशत ब्याज दर पर उपज रहन ऋण देने का फैसला किया है। इसे अमलीजामा देते हुएजून माह में 25 हजार किसानों को योजना के तहत लाभ प्रदान करने का लक्ष्य रखा हैं। ग्राम सेवा सहकारी समितियों के सदस्य लघु एवं सीमान्त किसानों को 1.50 लाख रूपये तथा बड़े किसानों को 3 लाख रूपये रहन ऋण के रूप में मिलेंगे। किसान को अपनी उपज का 70 प्रतिशत ऋण मिलेगा। इससे किसान की तात्कालिक वित्तीय आवश्यकताएं पूरी होगी। बाजार में अच्छे भाव आने पर किसान अपनी फसल को बेच सकेगा। मंत्री ने कहा कि प्रतिवर्ष कृषक कल्याण कोष से 50 करोड रूपये का अनुदान इस योजना के लिए किसानों को मिलेगा।  

प्रधानसेवक का पैगाम, आपके नाम

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प्रधानसेवक का पैगाम, आपके नाम छोटा अखबार। एक साल पहले यानि 30 मई 2019 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने दूसरे कार्यकाल की शुरुआत की और पहला साल पूरा होने पर मोदी ने देश की जनता को चिट्ठी के माध्यम से संबोधित किया। कोविड—19 के प्रकोप के कारण पीएम स्नेहीजन देशवासियों के सामने आकर संवाद नहीं कर सके। उन्होंने चिट्ठी के जरीए न सिर्फ बीते एक साल में हुई उपलब्धियों को बताया बल्कि लॉकडाउन में लोगों के द्वारा नियमों का निष्ठा से पालन करने पर भी भूरी—भूरी प्रशंसा की। आपके लिये पेश है पीएम चिट्ठी। मेरे प्रिय स्नेहीजन, आज से एक साल पहले भारतीय लोकतंत्र के इतिहास में एक नया स्वर्णिम अध्याय जुड़ां देश में दशकों बाद पूर्ण बहुमत की किसी सरकार को लगातार दूसरी बार जनता ने ज़िम्मेदारी सौंपी थी। इस अध्याय को रचने में आपकी बहुत बड़ी भूमिका रही है। ऐसे में आज का यह दिन मेरे लिए, अवसर है आपको नमन करने का, भारत और भारतीय लोकतन्त्र के प्रति आपकी इस निष्ठा को प्रणाम करने का। यदि सामान्य स्थिति होती तो मुझे आपके बीच आकर आपके दर्शन का सौभाग्य मिलता। लेकिन वैश्विक महामारी कोरोना की वजह से जो परिस्थितियां बनी हैं

प्रवासी मजदुर ने मांगा भोजन तो आईएएस ने कहा कूद जाइये ट्रेन से 

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प्रवासी मजदुर ने मांगा भोजन तो आईएएस ने कहा कूद जाइये ट्रेन से   छोटा अखबार। प्रवासी मजदूर ने एपी सिंह को कहा हम लोग झारखंड के प्रवासी मजदूर बोल रहे हैं। स्पेशल ट्रेन से वापस आ रहे हैं सर, सुबह से खाना नहीं मिला है, भूख से परेशान हो गए हैं हम लोग। तो एपी सिंह बोले अच्छा, खाना रेलवे को देना है, रेलवे देगा खाना। मजदूर ने फिर कहा तो कब देगा सर, सुबह में खाली एक पैकेट ब्रेड, एक केला और एक बोतल पानी दिया है, उसी में दिन भर काटना पड़ रहा है सर, कैसे क्या करें। फिर एपी सिंह बोले कूद जाइये वहां से,और क्या करिएगा। देश में जारी लोकडाउन से परेशानियां झेल रहे प्रवासी मजदूरों का घर वापसी का दौर जारी है। विभिन्न क्षेत्रों में फंसे हुए प्रवासी मजदूरों की पीड़ा पर संज्ञान लेते हुए सर्वोच्च न्यायालय ने गुरुवार को इस मामले में महत्वपूर्ण आदेश दिये है। कोर्ट ने कहा कि ट्रेन या बस से यात्रा करने वाले किसी भी प्रवासी मजदूर से किराया नहीं लिया जाएगा। उसे रेलवे और राज्य सरकारें आपस में वहन करें। जब तक लोग ट्रेन या बस के लिए इंतजार कर रहे होंगे उस दौरान संबंधित राज्य या केंद्रशासित प्रदेश उन्हें भोजन मुहैया क

देश में लोकडाउन के कारण लूट के साथ आत्महत्याओं का दौर शुरू

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देश में लोकडाउन के कारण लूट के साथ आत्महत्याओं का दौर शुरू छोटा अखबार। देश में जारी लोकडाउन से उपजी बेरोजगारी और आर्थिक तंगी के कारण आत्महत्याओं का सिलसिला शुरू हो गया है। इस का ताजा उदाहरण उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में देखने को मिला है। यहां आर्थिक तंगी से परेशान दो लोगों की आत्महत्या है। समाचार सूत्रों के अनुसार मटौंध थाना प्रभारी निरीक्षक रामेंद्र तिवारी ने बताया कि लोहरा गांव के मजदूर सुरेश (22) ने बुधवार को एक पेड़ से फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। वे लॉकडाउन में दिल्ली फंस गए थे और पांच दिन पहले ही अपने गांव लौटे थे। मृत युवक के परिजनों के अनुसार सुरेश दिल्ली से लौटने के बाद आर्थिक तंगी से परेशान थे। उनके पास खर्चे के लिए पैसे नहीं थे। जिसके चलते उसने फांसी लगा ली। शव का पोस्टमॉर्टम करवाया गया है और घटना की जांच की जा रही है। कुछ इसी तरह की घटना पैलानी थाना क्षेत्र के सिंधन कलां गांव में घटी। दस दिन पहले मुंबई से लौटे मनोज (20) ने अपने घर के कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। मनोज के माता—पिता की पहले मौत हो चुकी थी और परिवार में वो अकेले ही ​थे। पड़ोसियों का कहना है कि मनोज म