Posts

सत्ता की मलाई चाटने के बाद भी जनसत्ता के पूर्व संपादक ओम थानवी का इतना गुस्सा।

Image
  सत्ता की मलाई चाटने के बाद भी जनसत्ता के पूर्व संपादक ओम थानवी का इतना गुस्सा।  पीएम मोदी और सचिन पायलट को कोसने की काबिलियत नहीं होती तो राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत तीन तीन यूनिवर्सिटीज का वाइस चांसलर नहीं बनाते।   ईमानदार तो रिटायर आईएएस जीएस संधु भी हैं जो अब मात्र एक रुपए के मासिक वेतन में गहलोत सरकार के सलाहकार हैं। S.P.MITTAL ========== इंडियन एक्सप्रेस समूह के हिन्दी दैनिक जनसत्ता अखबार के पूर्व संपादक ओम थानवी इस बात से बेहद गुस्से में हैं कि राजस्थान विधानसभा में प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड़ ने उनके सरकारी बंगले पर होने वाले 20 लाख रुपए की राशि पर ट्वीट किया है। इस ट्वीट के जवाब में थानवी का कहना है कि मैं जयपुर में अपने बेटे के अपार्टमेंट में रह रहा हंू। 20 लाख रुपए में से एक धेला भी खर्च नहीं किया गया है। जब नए सरकारी बंगले में जाऊंगा तो आपको (राजेन्द्र राठौड़) को बता दूंगा। आपके फोन नम्बर मेरे पास हैं। थानवी ने अपने गुस्से में यह माना कि उन्हें सुसज्जित बंगला उपलब्ध करवाने की जिम्मेदारी राज्य सरकार की है। थानवी का यह गुस्सा समझ से परे हैं क्योंकि थानवी उन भाग्यशाल

बात स्थाई मुद्दों की

Image
 बात स्थाई मुद्दों की

भाजपा सांसदो ने किया मतदाताओं से विश्वासघात

Image
 भाजपा सांसदो ने किया मतदाताओं से विश्वासघात

मुख्यसचिव काम करें, समीक्षा नहीं — आमजन

Image
मुख्यसचिव काम करें, समीक्षा नहीं — आमजन

जेडीए आयुक्त के नाम प्रदेशवासी का खुला पत्र

Image
             जेडीए आयुक्त के नाम प्रदेशवासी का खुला पत्र

आवासन मंडल पर लगा काला टीका

Image
  आवासन मंडल पर लगा काला टीका

राकेश टिकैत के आंसूओं ने फिर बुलाया किसानों को दिल्ली बॉर्डरों पर

Image
राकेश टिकैत के आंसूओं ने फिर बुलाया किसानों को दिल्ली बॉर्डरों पर  छोटा अखबार। 26 जनवरी को ट्रैक्टर रैली के बाद दिल्ली के कई हिस्सों सहित लाल क़िले पर हुए हुड़दंग के बाद किसान राजधानी की अलग-अलग सीमाओं पर जारी प्रदर्शनों से वापस लौट चुके है। लेकिन गुरुवार को गाज़ीपुर बॉर्डर पर राकेश टिकैत के आंसूओं ने किसानों को संबल दिया है। इसी कारण आंदोलन ने एक बार फिर रफ्तार पकड़ लिया है। समाचार सूत्रों के अनुसार बड़ी तादाद में राजस्थान सहित पश्चिम यूपी और पंजाब, हरियाणा से किसान अपनी—अपनी जगहों पर वापस विरोध-प्रदर्शनों के लिये पहुँच रहे हैं। ANI इस बीच राकेश टिकैत ने केंद्र सरकार से सवाल किया है कि वह किसानों को बताए कि आखिर तीन नए कृषि क़ानूनों को वह क्यों वापस नहीं ले सकती है। उन्होने कहा हम वादा करते हैं कि सरकार का सिर दुनिया के सामने झुकने नहीं देंगे। GETTY IMAGES एक बार फिर से आंदोलन हूंकार भरते किसानो के मध्य टिकैत ने कहा कि सरकार की ऐसी क्या मजबूरी है कि वह नए कृषि क़ानूनों को निरस्त नहीं करने पर अड़ी हुई है? टिकैत ने जोर देते हुये कहा कि सरकार के साथ हमारी विचारधारा की लड़ाई है और ये लाठी